Jammu and Kashmir police ने फेसबुक के जरिए फर्जी नौकरी गिरोह का भंडाफोड़ किया

जम्मू-कश्मीर पुलिस ने एक फर्जी नौकरी गिरोह का भंडाफोड़ किया है, जिसे फेसबुक के माध्यम से संचालित किया जा रहा था। पुलिस ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। खबरों के अनुसार, कश्मीर जोन, श्रीनगर के साइबर पुलिस स्टेशन को उत्तरी कश्मीर के बारामूला जिले की एक महिला से लिखित शिकायत मिली थी। शिकायत में महिला
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Jammu and Kashmir police ने फेसबुक के जरिए फर्जी नौकरी गिरोह का भंडाफोड़ किया

जम्मू-कश्मीर पुलिस ने एक फर्जी नौकरी गिरोह का भंडाफोड़ किया है, जिसे फेसबुक के माध्यम से संचालित किया जा रहा था। पुलिस ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। खबरों के अनुसार, कश्मीर जोन, श्रीनगर के साइबर पुलिस स्टेशन को उत्तरी कश्मीर के बारामूला जिले की एक महिला से लिखित शिकायत मिली थी।

शिकायत में महिला ने आरोप लगाया कि उसे एक अज्ञात फेसबुक उपयोगकर्ता की ओर से कई फर्जी फेसबुक अकाउंट संचालित करते हुए उसे नौकरी देने का झांसा दिया। उक्त व्यक्ति ने अपने आपको आईसीडीएस के प्रोजेक्ट ऑफिसर के तौर पर बताया।

महिला की ओर से की गई इस शिकायत के प्राप्त होने पर कानून की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया। इस संबंध में एफआईआर संख्या 23/2020 साइबर पुलिस स्टेशन में दर्ज की गई और जांच शुरू की गई। जांच के दौरान पाया गया कि उक्त अज्ञात फेसबुक उपयोगकर्ता ने 15 फर्जी फेसबुक अकाउंट बनाए थे, जिनमें पुरुष और महिला दोनों के नाम से अकाउंट बनाए गए थे।

पुलिस ने कहा, “उसने धोखाधड़ी से पीड़ितों से कई सिम कार्ड प्राप्त किए थे, जिसका उपयोग वह महिला पीड़ितों, विशेष रूप से युवा और बेसहारा लड़कियों को धोखा देने के लिए कर रहा था। अपनी शातिर और दुष्ट योजनाओं से आरोपी ने नौकरी दिलाने के नाम पर पीड़ितों से लाखों रुपये हड़प लिए।”

पुलिस ने कहा कि आरोपी के काम करने के तौर-तरीकों में फर्जी फेसबुक अकाउंट बनाना शामिल है, जिसमें हाई प्रोफाइल गणमान्य लोगों की प्रोफाइल पिक्च र्स का इस्तेमाल किया गया है, जो ज्यादातर राजनीति और टेलीविजन इंडस्ट्री से जुड़ी हस्तियां हैं। इसके बाद युवतियों को फ्रेंड रिक्वेस्ट भेजी जाती थी।

पुलिस ने कहा कि प्रोफाइल से आकर्षित होने वाली लड़कियां अक्सर आरोपी से चैट करती थीं, जो उन्हें अपनी गतिविधियों और नौकरियों के वादों से प्रभावित करता था।

पुलिस ने बताया, “उसने उन्हें विश्वास दिलाया कि वह उन्हें नौकरी दिलाने में मदद कर सकता है। इसके लिए वह उन्हें पैसे देने के लिए मजबूर करता था। आरोपी युवा लड़कियों को अपनी आपत्तिजनक तस्वीरें और वीडियो साझा करने के लिए भी मजबूर करता था और फिर ब्लैकमेलिंग के लिए उसी का इस्तेमाल करता था।”

पुलिस ने कहा कि आरोपी अपने मोबाइल फोन और सिम कार्ड को अक्सर बदलता रहता था।

पुलिस ने बताया कि आरोपी की पहचान के. पी. रोड अनंतनाग के रहने वाले मोहम्मद हुसैन मीर उर्फ बिट्टा मोरी के रूप में की गई, जो पेशे से एक दुकानदार है। उसे गिरफ्तार कर लिया गया है। पूछताछ के दौरान आरोपी व्यक्ति ने स्वीकार किया कि वह एक प्रसिद्ध टीवी धारावाहिक ‘क्राइम पेट्रोल’ से प्रेरित था और उसने उक्त धारावाहिक को देखकर सोशल मीडिया के जरिए अपराधों के तौर-तरीके सीखे थे।

पुलिस ने कहा, “अभियुक्त का एक साथी, जो नकली सिम कार्ड प्रदान करता था, उसे भी गिरफ्तार कर लिया गया है। मामले में और गिरफ्तारियां होने की उम्मीद है।”

न्यूज स्त्रोत आईएएनएस