Twitter ने जम्मू-कश्मीर को चीन का हिस्सा दिखाने के बाद जियोटैग मुद्दा सुलझाया

जम्मू एवं कश्मीर को गलती से चीन के हिस्से के रूप में दिखाए जाने पर बढ़े विवाद के बाद ट्विटर ने सोमवार को कहा कि उसने इस मुद्दे को सुलझा लिया है। ट्विटर के प्रवक्ता ने एक बयान में आईएएनएस से कहा, “हम रविवार को इस तकनीकी मुद्दे से अवगत हुए। हम इसकी संवेदनशीलता को
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Twitter ने जम्मू-कश्मीर को चीन का हिस्सा दिखाने के बाद जियोटैग मुद्दा सुलझाया

जम्मू एवं कश्मीर को गलती से चीन के हिस्से के रूप में दिखाए जाने पर बढ़े विवाद के बाद ट्विटर ने सोमवार को कहा कि उसने इस मुद्दे को सुलझा लिया है। ट्विटर के प्रवक्ता ने एक बयान में आईएएनएस से कहा, “हम रविवार को इस तकनीकी मुद्दे से अवगत हुए। हम इसकी संवेदनशीलता को समझते हैं और इसका सम्मान करते हैं। टीमों ने इसका पता लगाकर तेजी से संबंधित जियोटैग मुद्दे को हल करने के लिए काम किया है।”

दरअसल, माइक्रो ब्लॉगिंग साइट ट्विटर ने लोकेशन को लेकर बड़ी गलती करते हुए जम्मू-कश्मीर को चीन का हिस्सा बता दिया था। ट्विटर की इस हरकत के बाद सोशल मीडिया पर खूब बवाल मचा। ट्विटर इंडिया ने लाइव लोकेशन (जियो टैग) में जम्मू-कश्मीर को चीन का हिस्सा दिखाने पर भारत के लोगों ने सोशल मीडिया पर अपना गुस्सा जाहिर किया।

लेह के युद्ध स्मारक हॉल ऑफ फेम से ट्विटर पर लाइव होने के बाद इस मुद्दे को सबसे पहले राष्ट्रीय सुरक्षा विश्लेषक नितिन गोखले ने ध्यान में लाया।

इस दौरान उन्होंने जो देखा, वो वाकई हैरान करने वाला था। गोखले ट्विटर पर लाइव होकर लोगों को हिमाचल प्रदेश से एक नए रास्ते से लद्दाख पहुंचने के अपने अनुभव के बारे में बताने लगे। कार्यक्रम को पूरा करने के बाद, उन्होंने पाया कि युद्ध स्मारक के स्थान को पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना के रूप में दिखाया गया था।

गोखले ने अपने ट्विटर हैंडल से ट्वीट करते हुए कहा, “मैंने अभी हॉल ऑफ फेम से लाइव किया है। हॉल ऑफ फेम को लोकेशन बनाया और आपको पता है, ये कह रहा है कि जम्मू एंड कश्मीर, पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना में है। क्या तुम लोग पगला गए हो?”

बाद में ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन (ओआरएफ) की विशिष्ट फेलो कंचन गुप्ता ने भी आपत्ति जताई।

कंचन गुप्ता ने अपने एक ट्वीट में लिखा, “ट्विटर ने अब भूगोल बदलने का फैसला कर लिया है। इसने जम्मू-कश्मीर को चीन का हिस्सा घोषित कर दिया है। यह भारतीय कानूनों का उल्लंघन नहीं है तो क्या है? क्या अमेरिकी कंपनी कानून से ऊपर है?”

कंचन ने दूरसंचार और सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद को भी इसमें टैग किया।

सोशल मीडिया पर भी लोगों ने प्रसाद और केंद्र सरकार से ट्विटर इंडिया के खिलाफ कार्रवाई करने की अपील की है।

न्यूज स्त्रोत आईएएनएस